कला-संगीत को प्रोत्साहन के लिए उत्सव कलेण्डर तैयार

मुख्यमंत्री श्रीमती वसुन्धरा राजे ने कहा है कि राजस्थान सरकार कला एवं संगीत को बढ़ावा देने के लिए पूरे प्रदेश में साल भर मेलों और उत्सवों का आयोजन करेगी। इसके लिए एक कलेण्डर तैयार किया गया है। ऐसे आयोजनों से न केवल राज्य की सांस्कृतिक विरासत अधिक समृद्ध होगी बल्कि पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा।

श्रीमती राजे सोमवार शाम को सार्क सूफी संगीत उत्सव के समापन सत्र में बोल रही थीं। उन्होंने कहा कि सभी तरह की कलाओं के माध्यम से व्यक्ति अपनी जड़ों से जुडा रहता है। आज की भाग-दौड़ की जिन्दगी में कला सुकून का एक बेहतरीन माध्यम हो सकती हैं।

सूफी दर्शन पर चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इससे प्रेम और भाईचारे का संदेश मिलता है। उन्होंने कहा कि सूफी परम्परा सिर्फ कविता या संगीत तक ही सीमित नहीं है, सभी तरह की कलाएं इसका हिस्सा है। कला का साथ पाकर व्यक्ति तनावमुक्त अनुभव करता है।

श्रीमती राजे ने कार्यक्रम में भक्ति संगीत का आनन्द लिया तथा लाल किले का आखिरी मुशायरा नाटक की प्रस्तुति भी देखी।
इस अवसर पर महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री श्रीमती अनिता भदेल, फाउण्डेशन आॅफ सार्क राइटर्स एण्ड लिटरेचर की अध्यक्ष पदम्श्री अजीत कौर, प्रसिद्ध सूफी कलाकार एवं गणमान्यजन उपस्थित है।

जयपुर, 12 अक्टूबर 2015